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अखिल भारतीय साहित्य परिषद चित्तौड़ प्रांत का विचार सत्र

जनजाति के लोग हिन्दू समाज का ही अभिन्न अंग- सांसद रावत

उदयपुर। अखिल भारतीय साहित्य परिषद चित्तौड़ प्रांत की ओर से संविधान की पांचवी अनुसूची और राजस्थान विषय पर मीरा कन्या महाविद्यालय सभागार में विचार सत्र का आयोजन किया गया। मुख्य वक्ता उदयपुर सांसद डॉ मन्नालाल रावत थे।
इस अवसर पर सांसद डॉ मन्नालाल रावत ने कहा कि लंबे समय तक आदिवासियों के बीच एक भ्रम फैलाया गया जिसमें कहा गया कि ना लोकसभा ना राज्यसभा बस केवल ग्राम सभा। यह भी कहा गया कि पांचवी अनुसची धरातल पर काम नहीं कर रही है।
इसी भ्रम को तोड़ने के लिए और संशय को दूर करने के लिए पांचवी अनुसूची को जीवंत करने के लिए पेसा कानून लाया गया। टीएसपी का सर्विस रूल बनाया गया ताकि कोई भी पद खाली न रहे और आदिवासी भाइयों को उनके अधिकारों और सामान्य प्रशासनिक कामकाज का पूरा लाभ मिल सके।
इसी अनुसूची के तहत जनजाति परामर्श दात्री समिति का गठन भी हुआ। उन्होंने झाबुआ के
शिव गंगा मिशन का उदाहरण देते हुए कहा कि ऐसा कार्य राजस्थान में भी करना है, जहां 1114 गांवों में 435 वाटर शेड आपसी सहयोग से चल रहे है। उन्होंने तीर फाउंडेशन द्वारा 435 गांवों में चल रहे जन जागरूकता अभियान का भी जिक्र किया।
भील शब्द को लेकर अलग-अलग विचारों का झंडा खड़ा करने वाले लोगों की नकारात्मक सोच के लोगों को आडे हाथों लेते हुए उन्होंने कहा कि भील का अर्थ किसी जाति से नहीं है बल्कि तीर कमान में पारंगत योद्धा से है।
उन्होंने कहा कि जनजाति के लोग हिन्दू समाज का ही अभिन्न भाग है। इसको अलग बात कर लोग अपनी राजनीतिक रोटियां सेकने का काम करते हैं।
रावत ने कहा कि अंग्रेजों ने तोडने का काम किया और जनजातीय में नकारात्मक और गलत नरेटिव बनाये। अंग्रेजों के बनाए वही नकारात्मक नेरेटिव आज कुछ तथाकथित लोग आगे बढ़ा रहे हैं। यह बहुत गंभीर चिंता और चिंतन का विषय है।
इस अवसर पर अखिल भारतीय साहित्य परिषद चित्तौड़ प्रांत के कोषाध्यक्ष पंकज सरकार ने कहा कि झूठे विमर्श गढ़ कर तथाकथित बुद्धिजीवी समाज में हमारी स्थापित परंपराओं और संस्कृति के खिलाफ दुष्प्रचार करते हैं। इस सबसे निपटने के लिए हम सब कलमकारों को एक होकर अपनी सकारात्मक ऊर्जा से इसका जवाब देना होगा।
कार्यक्रम अध्यक्ष मीरा कन्या महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ दीपक माहेश्वरी ने कहा कि साहित्य परिषद का यह आयोजन महाविद्यालय परिसर में होना हमारे लिए गर्व का विषय है। उन्होंने आशा व्यक्त की कि परिषद की गतिविधियों से विद्यार्थियों को प्रेरणा मिलेगी।
विषय प्रवर्तन प्रांत सचिव शिवदान सिंह जोलावास ने किया। प्रांत मीडिया प्रमुख डॉ.कुंजन आचार्य ने प्रारंभ में सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए परिषद द्वारा आयोजित विभिन्न गतिविधियों का परिचय दिया। तुरंत महिला प्रतिनिधि डॉ अंजू बेनीवाल ने सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया। संचालन डॉ मंजू त्रिपाठी ने किया।
कार्यक्रम के शुरू में संगीत विभाग की छात्राओं ने अखिल भारतीय साहित्य परिषद का परिषद गीत प्रस्तुत किया
इस विचार सत्र में उदयपुर विभाग संयोजक डॉ आशीष सिसोदिया सहित डॉ अशोक सोनी, डॉ सुनील खटीक, डॉ श्रुति टंडन, डॉ सुनीता आर्य आदि उपस्थित थे।

डॉ कुंजन आचार्य
प्रांत मीडिया प्रभारी
अखिल भारतीय साहित्य परिषद
चित्तौड़ प्रांत

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